अंगद कुमार/सिवान
विदेशी बौद्ध शोधार्थी भी थे मौजूद
साधना का उत्तम स्थल है तीतिर स्तूप ।
भगवान बुद्ध की हुई पूजा अर्चना ।
।जीरादेई ।
जीरादेई प्रखंड के तितिरा बंगरा गांव में स्थित प्राचीन ऐतिहासिक बौद्ध स्थल तितिर स्तूप प्रक्षेत्र का भ्रमण मंगलवार को जिला अवर निबंधक तारकेश्वर पांडेय ने किया। सर्वप्रथम भगवान बुद्ध की पूजा अर्चना की गई ।
इस अवसर पर तितिर स्तूप विकास मिशन के संस्थापक अध्यक्ष कृष्णकुमार सिंह ने तितिर स्तूप के प्राचीन ऐतिहासिक महत्व को बताते हुए इस स्थल के खुदाई से प्राप्त पुरातात्विक साक्ष्यों के बारे में बताया। इस दौरान एक परिचर्चा का आयोजन भी रखा गया, जिसमें राष्ट्र सृजन अभियान के महासचिव ललितेश्वर कुमार, शिक्षाविद् गणेश दत्त पाठक, दक्षिण कोरिया के शोधार्थी अमिताभ केशव , युवा चित्रकार रजनीश मौर्य ने भी भाग लिया। परिचर्चा में शामिल सभी प्रबुद्धजनों ने इस बात पर सहमति जताई कि तितिर स्तूप प्रक्षेत्र का विकास सीवान में पर्यटन के विकास का मजबूत आधार बन सकता है। इससे संपूर्ण सीवान की तकदीर बदल सकती है।
तितिर स्तूप विकास मिशन के अध्यक्ष कृष्ण कुमार सिंह ने जिला अवर निबंधक तारकेश्वर पांडेय को बताया कि तमाम साहित्यिक साक्ष्य, यात्री फाहियान, ह्वेनसांग, इत्सिंग के यात्रा विवरण तितिर स्तूप के ऐतिहासिक महत्व की ओर संकेत करते हैं। पुरातत्व विभाग के खुदाई में भी पर्याप्त मात्रा में बौद्ध कालीन साक्ष्य मिले हैं। इस स्थल का विकास किया जाय और यहां बौद्ध पार्क और बौद्ध अध्ययन केंद्र स्थापित किया जाए तथा शासन के स्तर पर शीघ्र तितिर स्तूप प्रक्षेत्र को पुरातात्विक स्थल घोषित कर दिया जाए तो यहां भारी मात्रा में बौद्ध देशी विदेशी श्रद्धालु आने लगेंगे। जिला अवर निबंधक तारकेश्वर पांडेय ने भी कहा कि यह स्थल पर्याप्त संभावनाओं को समेटे हुए हैं। इस स्थल के विकास से क्षेत्र में खुशहाली की बयार बह उठेगी।
राष्ट्र सृजन अभियान के महासचिव ललितेश्वर कुमार ने कहा कि यहां देशी विदेशी सैलानी आते रहते हैं। इसलिए सुविधाओं को यथाशीघ्र बहाल किया जाना चाहिए। शिक्षाविद् गणेश दत्त पाठक ने कहा कि एक बार यह स्थल देश के पर्यटन मानचित्र पर आ गया तो भारी संख्या में देशी विदेशी बौद्ध श्रद्धालु यहां आने लगेंगे। दक्षिण कोरिया के बौद्ध शोधार्थी अमिताभ केशव ने बताया कि तितिर स्तूप क्षेत्र में सकारात्मक ऊर्जा का अहसास होता है तथा यह स्थल साधना का उत्तम स्थल है जहां अद्भुत शक्ति का एहसास हो रहा है ।युवा चित्रकार रजनीश मौर्य ने कहा कि सरकार को यथा शीघ्र इसे प्राप्त साक्ष्यों के आधार पर पुरातात्विक स्थल घोषित कर देना चाहिए।